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Month: November 2023

तथास्तु

आविष्कार और अंधविश्वास साथ-साथ !!

◆ मिस्र में विज्ञान और अंधविश्वास साथ साथ चलता था. दिमाग का एक हिस्सा ठीक काम कर रहा था. ◆ लाश को लंबे समय तक रखने के लिए दवाओं और पिरामिड का आविष्कार हो रहा था. दिमाग के दूसरे हिस्से में अंधविश्वास भरा हुआ. ◆ जब नील नदी में बाढ़ आती तो लोग कहते नील […]Read More

लाइम लाइट

काजोल से बात करने से क्यों कतराती थी रानी मुखर्जी???

करण जौहर का लोकप्रिय टॉक शो, कॉफ़ी विद करण, सीजन 8 के लॉन्च के बाद से ही धूम मचा रहा है। आगामी एपिसोड में बॉलीवुड की प्रमुख एक्ट्रेस, रानी मुखर्जी और काजोल शामिल होंगी। एपिसोड के प्रोमो ने पहले ही प्रशंसकों को उत्साहित कर दिया है क्योंकि यह आकर्षक बातचीत और कुछ दिलचस्प खुलासे का […]Read More

चुनावी चक्कलस

अशोक गहलोत… जादूगर पीता का जादूगर बेटा…

राजस्थान के मुख्यमंत्री आदरणीय अशोक गहलोत जी राजपूत नही, माली जाति से हैं. माली जाति ओबीसी कैटेगरी में आती है. इसी कारण माली जाति के लोग खुद को SC ST कैटेगरी वालों से ऊंचा मानते हैं. अशोक गहलोत के पिता माली पेशे में नही थे, वे एक जादूगर थे. घूम घूम कर जादूगरी का करतब […]Read More

लाइम लाइट

जो 10 रुपए जमा करेगा… VCR टीवी फिल्म पर फिल

मैं तब छोटा बच्चा था. पिता का हाथ पकड़ कर चल रहा था, उम्र होगी 10 साल. बात कर रहा हूँ साल 1989 की, उस साल 3 नवंबर को रुपहले पर्दे पर PARINDA फ़िल्म रिलीज हुई थी. बादल, बिजली और बरखा यह तीन सिनेमा हॉल (मुंबई) दादर शिवाजी पार्क से नजदीक माटुंगा टायकल वाड़ी में […]Read More

भिन्नाट ख़बर

कैदी नंबर 8647 और अच्छी खबर..!!!!???

देश में बहुत कुछ बहुत तेजी से बदल रहा है…फर्क इतना है कि पहले लोग विरोध करते थे, मीडिया दहाड़ लिया करता था ….लेकिन अब ये परंपरा खत्म हो चुकी है… कैदी नंबर 8647 मस्त है… वह जब चाहता है वह पैरोल पर बाहर आता है… ठसक से आता है और फिर चला जाता है… […]Read More

भिन्नाट ख़बर

माँ के पेट से राजा पैदा होते हैं… क्रांतिकारी नही…

माँ के पेट से राजा पैदा होते हैं, क्रांतिकारी नही. क्रांतिकारी बनना कोई आसान कार्य नही है. अत्याचार दर्द यातना झेलकर या दूसरों का दर्द महसूस कर क्रांतिकारी बनते हैं. अर्जेंटीना के महान क्रांतिकारी चे ग्वेरा को क्रांतिकारी बनने में नौ महीने लगे और 8,000 किलोमीटर लंबी यात्रा करनी पड़ी. 1952 में मोटरसाइकिल पर पूरे […]Read More

भिन्नाट ख़बर

बेटे को इंसाफ दिलाने के लिए… पीता ने जुटाए सबुत…

क्राइम इन्वेस्टिगेशन का काम पुलिस का है लेकिन यह काम एक पिता को खुद करना पड़ा… पुलिस ने केस क्लोजिंग रिपोर्ट कोर्ट में दाखिल कर दी और कोर्ट ने केस को क्लोज कर दिया. यह भारत के पुलिस विभाग और न्यायपालिका का हाल… 2015 गुड़गांव, हरियाणा. 15 वर्षीय अमित चौधरी की एक कार टक्कर से […]Read More

तथास्तु

सभ्यता, संस्कृति और संस्कार की बात ही ना करो तो

19वीं शताब्दी तक भारत में सती प्रथा और शिशुहत्या आम बात थी… बीमारी, महामारी, बाढ़ और अकाल के कारणों का लोगों को पता नही था. इन समस्याओं को लोग देवी देवताओं की नाराजगी जताने के जरिया मानते थे. देवी देवताओं को शांत करने के लिए शिशुहत्या का सहारा लिया जाता था… महान समाजसुधारक ईसाई मिशनरी […]Read More

तथास्तु

इस सभ्यता मे देवताओं को शांत करने के लिए कुंवारी

7000 किलोमीटर दूर कठिन समुद्री यात्रा कर यूरोपीन्स नई ज़मीन तलाशने जब अमेरिका महाद्वीप पर पहुंचे तो उन्होंने देखा यहां पहले से सभ्यता आबाद है… जिनका नाम माया, इंका और एज़्टेक है. जिनकी अपनी भाषा, संस्कृति, चिकित्सा पद्धति, भोजन पद्धति, कृषि पद्धति और मानव बलि प्रथा पद्धति भी है… यूरोपीन्स लाख बुरे थे. लेकिन उन्होंने […]Read More

कौशिक कहिन

लपनाम.. लपनाम.. काशीपुर वाले बाबा निराला को 21 दिन की

पैरोल और फरलो में सबसे बड़ा अंतर है पैरोल सज़ा से जोड़कर दी जाती है… अगर व्यक्ति 10 दिन पैरोल पर रहेगा तो उसके सज़ा में यह 10 जोड़ दिए जाएंगे और उसे 10 दिन अधिक सज़ा काटनी होगी… फरलो सज़ा से नही जोड़ा जाता. फरलो कैदियों के लिए एक प्रकार से छुट्टी जैसा है… […]Read More